देहरादून : पूर्व सीएम हरीश रावत चुनाली फॉर्म में हैं और लगातार अलग अलग विधानसभाओं के लोगों को वर्चुअली संबोधित कर रहे हैं. बीते दिन उन्होंने कई विधानसभाओं के लोगों को संबोधित किया तो वहीं आज छत्तीसगढ़ के सीएम के साथ उन्होंने चार धाम चार काम उत्तराखंडी अभिमान को लॉन्च किया। इससे पहले हरीश रावत ने फेसबुक पर एक इमोशनल पोस्ट लिखी। जिसमे लोगों की जमकर प्रतिक्रियाएं आ रही है।
हरीश रावत ने लिखा भावुक पोस्ट
हरीश रावत ने लिखा कि उत्तराखंड और कांग्रेस ने मुझे केंद्र और राज्य, पार्टी और सरकार दोनों में जितनी मेरी क्षमता थी उससे कुछ ज्यादा ही दिया है, मैं दोनों का आभारी हूंँ। मैं 2014 में मुख्यमंत्री बना, डेढ़ साल दुनिया की भीषणतम आपदा से जूझने में लग गया। जबरदस्त रूप से क्षतिग्रस्त हुये राज्य के बहुत बड़े हिस्से को सवारने में संपूर्ण शक्ति लग गई, चारधाम यात्रा और अर्थव्यवस्था को सुचारू बनाने के बाद मुझे कुछ और देखने, समझने और करने का अवसर ही नहीं मिला। मेरे साथ व्यक्तिगत दुर्भाग्य भी जुड़ा। गर्दन हवाई दुर्घटना में टूट गई, चोट से उभरने के बाद सोचा कि 2016 में कुछ करके दिखाऊंगा। केंद्र सरकार ने मेरे ऊपर राजनैतिक आपदा थोप दी, दल-बदल करवाया फिर तथाकथित स्टिंग करवाकर सरकार भंग कर दी, लंबी न्यायिक लड़ाई लड़नी पड़ी, 4 महीने विधानसभा द्वारा पारित बजट को खोजने में लग गया, फिर से दूसरी बार बजट पारित करवाना पड़ा, एक नया इतिहास बना।
यदि मुख्यमंत्री बनाना है तो 2015-16 की राजनीतिक स्थिति से बचना चाहूंगा-हरदा
आगे हरदा ने लिखा कि एक वर्ष में 1 विधानसभा ने 2 आम बजट पास किये। फिर भी मुझे फक्र है कि मैंने उत्तराखंड और उत्तराखंडियत के लिए प्रत्येक क्षेत्र में कई-कई पहलें प्रारंभ की जो पहले नहीं हुई। मैं आप सबका आभारी हूंँ एक चुनाव में पराजित, सत्ताच्युत नेता पर आप विश्वास जता रहे हैं, सर्वेक्षण दर सर्वेक्षण आप मेरे प्रति अपनी पसंद जाहिर कर रहे हैं, मैं आप सबका आभार व्यक्त करता हूंँ। मुझे इस बार यदि मुख्यमंत्री बनाना है तो 2015-16 की राजनीतिक स्थिति से बचना चाहूंगा, इस बार यदि मैं मुख्यमंत्री बनता हूंँ तो मुझे वो सारी योजनाएं, सोच 5 वर्ष में धरातल पर उतारनी पड़ेंगी, जिनके लिए आप मुझे अपनी पसंद बता रहे हैं। मेरे जीवन की अब तक की सारी राजनीतिक पूंजी इस चुनाव में दाव पर है। मैं जानता हूंँ जनता यदि प्रेम जताती है तो जनता निराश होने पर उससे कई गुना ज्यादा क्रोध भी जताती है या क्रोध कभी-कभी निराशाजन्य घृणा में बदल जाता है। मैं केवल मुख्यमंत्री बनने के लिए मुख्यमंत्री नहीं बनना चाहूंगा। मैं जानता हूंँ यदि मेरे पक्ष में अच्छा बहुमत नहीं होगा तो मुख्यमंत्री बनना भी कठिन होगा और सरकार को चलने भी नहीं दिया जाएगा। यदि आपको मेरे मुख्यमंत्री बनने में उत्तराखंड और उत्तराखंडियत का हित दिखाई देता है तो मुझे खुला और भरपूर आशीर्वाद दीजिये।
मैं जानता हूंँ आप मुझसे एक साफ-सुथरे और प्रभावी प्रशासन की आशा रखते हैं,-हरीश रावत
हरीश रावत ने लिखा कि मैं जानता हूंँ आप मुझसे एक साफ-सुथरे और प्रभावी प्रशासन की आशा रखते हैं, हर बात पर समझौता करने वाला मुख्यमंत्री विश्वासपूर्वक जनता की चाहत और अपनी सोच को लागू नहीं कर पाता है। यदि मेरे समर्थन में आ रहे भाई-बहन मेरे तर्क से सहमत हैं तो फिर आपको भी चुनाव में हरीश रावत बनना पड़ेगा, एक बड़ा बहुमत हमारे लिए जुटाना पड़ेगा। मैं प्रतिबद्ध हूंँ आपकी सोच और समझ का उत्तराखंड बनाने के लिए। आपको मेरे मार्ग की कठिनाइयों का समाधान निकालना है और ऐसा समाधान निकालना आपके हाथ में है।
“जय हिंद, जय उत्तराखंड-जय उत्तराखंडियत”।