उत्तराखंड का आबकारी विभाग वैसे तो कई मामलों को लेकर विवादों में रहा है। लेकिन इस बार रेवेन्यू वसूली को लेकर विभाग की कार्यप्रणाली सवालों के घेरे में है। बड़ी बात यह है कि तमाम समीक्षा बैठकों के दौरान वसूली न कर पाने को लेकर स्थितियां सामने आ रही है, इसके बावजूद कोई सुधार नहीं हो पा रहा है।
स्थिति को देखते हुए ऊधम सिंह नगर और पिथोरागढ़ जिले के जिला आबकारी अधिकारियों को कड़े निर्देश भी दिए गए हैं। उत्तराखंड में शराब व्यवसायियों से राजस्व वसूली कर पाने में आबकारी विभाग फिसड्डी साबित हो रहा है। स्थिति यह है कि विभाग के सचिव इस मामले में कई बार समीक्षा बैठक कर चुके हैं।
राजस्व वसूली संतोषजनक नहीं
बावजूद तमाम समीक्षा बैठकों के जिला आबकारी अधिकारी राजस्व वसूली को लेकर ढीला रवैया अपनाए ही नजर आ रहे हैं। इसी का नतीजा है कि जब सचिव आबकारी ने राजस्व वसूली को लेकर अधिकारियों की बैठक ली तो, इसमें कई जिलों में राजस्व वसूली संतोषजनक नहीं पाई गई।
अधिकारियों पर कार्रवाई के दिए निर्देश
बैठक में सचिव ने करोड़ों की राजस्व वसूली न कर पाने वाले अधिकारियों पर नाराजगी जाहिर की। साथ ही राजस्व वसूली में तेजी लाने के निर्देश दिए। इस दौरान ऊधम सिंह नगर और पिथोरागढ़ जिले में राजस्व वसूली को लेकर परफार्मेस सबसे खराब दिखाई दी। ऐसे में सचिव आबकारी की तरफ से निर्देश दिए गए कि विभाग के संबंधित अफसरों के खिलाफ एडवांस एंट्री की जाए। इसके अलावा कुछ और अधिकारियों पर भी कार्रवाई के निर्देश दिए गए।
बता दे इस बार आबकारी विभाग के सचिव की तरफ से वसूली में तेजी लाने को लेकर कड़ा रुख अपनाया गया है। इसके बावजूद भी राजस्व वसूली में लापरवाही सामने आती है तो संबंधित अधिकारियों पर बड़ी कार्रवाई भी हो सकती है।