विवादों में रहने वाले उत्तराखंड आयुर्वेद विश्वविद्यालय के कुलसचिव डॉ. मृत्युंजय कुमार को दो दिन पहले ही ओएसडी आयुर्वेद निदेशालय की कुर्सी मिली थी। करोड़ों के घोटाले के आरोपी अफसर को ओएसडी की कुर्सी देने के बाद विवाद उठा तो अब उन्हे शासन में अटैच कर दिया गया है। बताया जा रहा है कि ये कदम सीएम धामी के निर्देश के बाद उठाया गया है।
मृत्युंजय मिश्रा किए गए अटैच
उत्तराखंड आयुर्वेद विश्वविद्यालय के कुलसचिव डॉ. मृत्युंजय कुमार मिश्रा अब शासन से अटैच करने के आदेश दिए गए हैं। मृत्युंजय मिश्रा को सचिव आयुष कार्यालय में संबद्ध कर दिया गया है। बता दें कि दो दिन पहले 26 जून को मृत्युंजय कुमार मिश्रा के ओएसडी के पद पर तैनाती के लिए आदेश जारी किए थे। इसके बाद विवाद शुरु हो गया था। विपक्ष ने भी मृत्युंजय की ओएसडी पद पर तैनाती किए जाने को लेकर सवाल उठाए थे।
भ्रष्टाचार के आरोप में जा चुके हैं जेल
बता दें कि डॉ. मृत्युंजय कुमार मिश्रा साल 2018 में भ्रष्टाचार के आरोप में जेल भी जा चुके हैं। इन्हें भ्रष्टाचार के आरोप में विजिलेंस ने गिरफ्तार किया था। जिसके बाद कई महीने मृत्युंजय मिश्रा ने जेल में बिताए थे। उन पर आयुर्वेद विश्वविद्यालय में कुलसचिव पद पर रहते हुए वित्तीय अनियमितता करने के आरोप थे।
2021 हुए थे बहाली के आदेश
2018 में गिरफ्तार होने के बाद शासन ने इन्हें साल 2021 में फिर से मृत्युंजय कुमार को आयुर्वेद कुलसचिव पद पर पर बहाल करने के आदेश दिए थे। लेकिन एक महीने बाद ही उन्हें इस पद से हटाकर आयुष सचिव कार्यालय में अटैच कर दिया गया था।