पिछले कुछ दिनों से प्रदेश के मौसम में फिर से ठंड में इजाफा हो गया है। पहाड़ी इलाकों में बारिश और बर्फबारी को दौर फिर शुरू हो गया है। इसी बीच मौसम विभाग ने 3000 मीटर से ऊंचाई वाले इलाकों में हिमस्खलन की चेतावनी जारी है। ये चेतावनी एकदम सटीक भी साबित हुई है। तवाघाट-लिपुलेख मार्ग पर ग्लेशियर टूटा है। जिसके कारण मार्ग पर आवाजाही बंद हो गई है।
तवाघाट-लिपुलेख मार्ग पर टूटा ग्लेशियर
प्रदेश के ऊंचाई वाले इलाकों और निचले पहाड़ी इलाकों में मौसम कुछ दिनों से खराब बना हुआ है। बारिश और बर्फबारी रूक-रूक कर हो रही है। इसी के चलते मौसम विभाग ने 3000 मीटर से ऊंचाई वाले इलाकों में हिमस्खलन की चेतावनी जारी है। इस चेतावनी के साथ ही पिथौरागढ़ में हिमस्खलन की घटना भी सामने आ गई है।
सीमा को जाने मार्ग पर आवाजाही बंद
तवाघाट-लिपुलेख मोटर मार्ग ग्लेशियर टूटने से बंद हो गया है। इस मार्ग पर गर्ब्यांग और नप्लचु के बीच में गणेश नाला जिसे खंगला नाला के नाला के नाम से भी जाना जाता है उसेक पास हिमस्खलन हुआ है। हिमस्खलन से चीन सीमा को जाने इस मार्ग पर आवाजाही बंद हो गई है।
व्यास घाटी के सात गांवों में बर्फबारी और बारिश जारी
गनीमत रही कि जिस समय मार्ग पर ग्लेशियर का बड़ा हिस्सा टूटा उस दौरान कोई भी वाहन सड़क से नहीं गुजर रहा था। व्यास घाटी के सात गांवों में बृहस्पतिवार को सुबह से ही बर्फबारी हो रही है। इस के साथ ही यहां बारिश भी हो रही है। मिली जानकारी के मुताबिक मौसम के खराब होने के चलते सड़क खुलने में दो से तीन दिन लग सकते हैं।