उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने एक बड़ा और क्रांतिकारी फैसला लिया है। सीएम धामी ने निर्देश दिए हैं कि सीएम आवास, सचिवालय और सरकारी दफ्तरों में मिट्टी के बर्तनों में ही चाय परोसी जाए। दिलचस्प ये है कि खुद सीएम धामी ने इसकी शुरुआत मिट्टी के कप में चाय पी कर की है।
सीएम धामी से कुम्हारों का एक दल मिलने पहुंचा था। उनकी परेशानियां सुनने के बाद सीएम धामी ने ये अहम फैसला सुनाया है। सीएम ने कहा है कि सीएम आवास, सीएम सचिवालय और अन्य दफ्तरों में मिट्टी के बर्तन में ही चाय परोसी जाए। इसके साथ ही सीएम धामी ने निर्देश दिए हैं कि कुम्हारी कला को बचाने के लिए सरकारी स्तर पर प्रयास किए जाएं। इसके लिए चिह्नित स्थानों से कुम्हारों को अच्छी क्वालिटी की मिट्टी उपलब्ध कराई जाएगी। ये मिट्टी मानकों के अनुसार निशुल्क उपलब्ध कराई जाएगी।
धामी सरकार की कल्याणकारी नीतियों को राज्य के हर व्यक्ति तक पहुंचाने की कवायद
यही नहीं सीएम धामी ने अधिकारियों को निर्दश दिए हैं कि कुम्हारी कला को बचाने के लिए राज्य सरकार प्रयासरत है। इसके लिए हर तीन महीने पर बैठक भी की जाएगी।
वहीं सीएम धामी ने कुम्हारी हस्तकला को बढ़ावा देने के लिए एक पोर्टल बनाने का निर्देश भी दिया है। इस कला को राज्य में बढ़ावा देने के लिए इस क्षेत्र से जुड़े लोगों के उचित प्रशिक्षण भी दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि कुम्हार हस्तकला इकोलॉजी के लिए भी अच्छी है। कुम्हार हस्तकला को सीएम स्वरोजगार योजना में भी जोड़ने के निर्देश दिए गए हैं।