नोवल कोरोना वायरस से बचाव के लिए हैंड सैनिटाइजर की काफी डिमांड बढ़ गई है। इसके देखते हुए औषधि नियंत्रण विभाग की ओर से कंपनियों को तत्काल सैनिटाइजर बनाने का लाइसेंस दिया जा रहा है। सरकार ने सैनिटाइजर की कालाबाजारी रोकने के लिए रेट भी निर्धारित किए हैं। केमिस्टों को निर्देश दिए कि प्रिंट रेट से अधिक कीमत पर सैनिटाइजर की बिक्री न की जाए।
प्रदेश में 135 फार्मा कंपनियां हैंड सैनिटाइजर का उत्पादन कर रही है। इसमें प्रतिदिन 20 लाख बोतल 100 एमएल और 30 लाख बोतल 50 एमएल की तैयार हो रही है। कई कंपनियों की ओर से सैनिटाइजर बनाने के लिए लाइसेंस को आवेदन किया जा रहा है।