कोरोना वायसर को लेकर लगातार नए खुलसे हो रहे हैं। चीन में कोरोना एक बार फिर म्यूटेड रूप में सामने आया है। अब तक सबसे ज्यादा मौतों के मामले में अमेरिका सबसे आगे है। इसको लेकर एक नया रिसर्च सामने आया है। यह खुला कैम्ब्रिज यूनिवर्सिटी की एक स्टडी में कोरोना के तीन टाइप के बारे में जानकारी दी गई है। इसमें कोरोना को लेकर बड़ा खुलासा किया गया है। दावा किया गया है कि कोरोना वायरस एक नहीं, बल्कि तीन तरह के होते हैं। जिनमें टाइप-ए, टाइप-बी और टाइप-सी शामिल हैं। इनमें से टाइप-ए सबसे ज्यादा खतरनाक है। माना जा रहा है कि अमेरिका में कोरोना वायरस का टाइप-ए ही तबाही मचा रहा है।
कोरोना का कौन-सा टाइप कहां से आया ?
कोरोना टाइप-ए स्टडी के मुताबिक कोरोना वायरस का टाइप-ए चमगादड़ और पैंगोलीन से इंसानों में आया है। कोरोना का टाइप-ए सबसे खतरनाक है और वुहान के बाद यह अमेरिका, जापान और ऑस्ट्रेलिया में तबाही मचा रहा है। टाइप-ए की वजह से ही अमेरिका और ऑस्ट्रेलिया में करीब 4,00,000 लोगों में संक्रमण फैला है। अमेरिका में दो-तिहाई संक्रमण टाइप-ए से ही है। कोरोना टाइप-बी माना जा रहा है कि यह टाइप-ए से पैदा हुआ है और वुहान में इसने ही तबाही मचाई थी। टाइप-सी वायरस के तीसरे टाइप को टाइप बी की बेटी कहा जा रहा है। सिंगापुर और यूरोप में टाइप-सी फैला है।
भारत के लिए अच्छी खबर
अमर उजाला डाॅट काॅम में छपी रिपोर्ट के अनुसार शोध में शामिल डॉक्टर पीटर फोर्स्टर और उनकी टीम ने पाया कि ब्रिटेन में कोरोना वायरस के अधिकतर मामले टाइप-बी से संबंधित हैं। इसके अलावा स्विट्जरलैंड, जर्मनी, फ्रांस, बेल्जियम और नीदरलैंड भी टाइप-बी ही फैला है। शोधकर्ताओं का मानना है कि कोरोना के अलग-अलग टाइप अलग-अलग देशों के लोगों के इम्यून सिस्टम के हिसाब से प्रतिक्रिया दे रहे हैं। रिसर्च में कहा गया है कि अमेरिका में कोरोना वायरस चीन से पहुंचा, लेकिन चीन से ज्यादा नुकसान अमेरिका को हुआ। कोरोना वायरस के संक्रमण की चेन का पता लगाने के लिए पहली बार एल्गोरिदम का प्रयोग किया गया है। बता दें कि इस एल्गोरिदम का प्रयोग आमतौर पर इंसान की हजारों साल पुरानी प्रजाति के बारे में पता लगाने के लिए किया जाता है।