प्रदेशभर के साथ देहरादून में भी जन्माष्टमी की धूम देखी जा रही है। मंदिरों को दुल्हन की तरह सजाया गया है। भक्तों ने भगवान श्रीकृष्ण के 524 वें जन्मोत्सव को लेकर खास उत्साह देखा जा रहा है। जन्माष्टमी के मौके पर राजधानी के मंदिरों में भजन और झांकियां भी निकाली जा रही है।
भगवान श्रीकृष्ण का 524 वां जन्मोत्सव
भगवान श्रीकृष्ण श्री विष्णु के आठवें अवतार हैं और आज भगवान श्री कृष्ण का 524 वां जन्मोत्सव है। इस बार की जन्माष्टमी 24 और 25 अगस्त दो दिन मनाई जा रही है। जन्माष्टमी के दिन भगवान श्री कृष्ण की पूजा निशीथ समय पर की जाती है। वैदिक समय गणना के अनुसार निशीथ मध्यरात्रि का समय होता है। निशीथ समय पर भक्त यशोदा के नंद लाल यानि बालकृष्ण की पूरे विधि-विधान के साथ पूजा अर्चना करते है। इस बार जन्माष्टमी पूजन का सबसे शुभ मुहूर्त 12 बजे से लेकर 12.45 तक है। कहा जाता है कि इस दिन भगवान श्री कृष्ण पृथ्वी पर अवतरित हुए थे इसलिए कृष्ण जन्माष्टमी के रुप में ये दिन मनाया जाता है। इस दिन भक्त व्रत भी रखते हैं। इस दिन मंदिरों में झांकियां सजाई जाती हैं और भगवान कृष्ण को झूला भी झूलाया जाता है। सभी लोग इस दिन अलग-अलग तरीके से पूजा पाठ करते हैं, लेकिन इस दिन तीन मंत्रों का जाप बहुत शुभ और कल्याणकारी माना जाता है। सात अक्षरी और बारह अक्षरी मंत्र बोलने और जप करने में बड़े सरल और मंगलकारी हैं।
‘गोकुल नाथाय नम:‘
‘ऊँ नमो भगवते श्री गोविन्दाय‘
‘गोवल्लभाय स्वाहा‘