चमोली : लॉकडाउन में दूसरे राज्यों में फंसे लोग हर हाल में अपने घर पहुंचना चाहते हैं. उसके लिए वो किसी भी तरह अपने घर पहुंचना चाहतेहैं। चमोली-कर्णप्रयाग के कोटि गावं के एक युवक ने घर पहुंचने के लिए साइकिल पर ही सफर करने का मन बनाया और हरियाणा के रेवाड़ी से 530 किलोमीटर का सफर तय कर चार दिन बाद अपने गांव कोटी पहुंचा।
वीरेंद्र ने बताया कि वह पिछले सात साल से रेवाड़ी जिले में एक स्कूल की कैंटीन में काम कर रहा था। लॉकडाउन के चलते काम बंद होने पर वेतन भी बंद हो गया। मकान मालिक को किराया देने के बाद भूखे रहने की नौबत आई तो उसने गांव वापस जाने का विचार बनाया। पास बनवाने के लिए हजारों रुपये देकर गुरुग्राम के चक्कर काटे, लेकिन नहीं बना। इसके बाद उसने तय किया कि वो साइकिल से ही घर जाएगा।
अमर उजाला की एक रिपोर्ट के मुताबिक वह 10 मई की शाम रेवाड़ी से निकला था और ऋषिकेश होते हुए 12 मई की रात श्रीनगर पहुंचा। पुलिस बैरियर पर तैनात पुलिसकर्मियों ने युवक को रोक लिया। उसे बेहाल देख उन्होंने रात में उसे भोजन कराकर ठहरा दिया। इससे पहले भी उसे कई जगह रोका गया, जहां हर जगह उसने मजबूरी बताईा. कोतवाल नरेंद्र बिष्ट ने बताया कि युवक की मेडिकल जांच की गई है। वह स्वस्थ है। पास बनवाकर युवक को चमोली के लिये भेजा गया था। जहां उसे क्वारंटीन कर दिया गया.