हल्द्वानी : आज होलिका दहन है होली स्थल पर स्थानीय महिला पारमपरिंक परिधान पहन कर होलिका माता की पूजा कर परिवार की सुखशांति के लिए कामना करती है. रात में होलिका दहन के साथ ही होली का रंग शुरू हो जायेगा। होलिका दहन के मुहर्त और विधिविधान पर पंडित ब्यास पांडेय ने बताया की फाल्गुन मास की पूर्णिमा तिथि को होली का पर्व मनाया जाता है।
शास्त्रों की मानें तो पूर्णिमा के दिन ही होलिका दहन किया जाता है। आज होलिका दहन है ऐसे में होलिका दहन का शुभ मुहूर्त रात्रि 8 बजकर 12 मिनट पर है, पंडित ब्यास पांडेय के अनुसार होलिका दहन के दिन पूर्णिमा के साथ भ्रद्रा भी लग रहे हैं। ऐसे में भद्रा में होलिका दहन नहीं किया जाता है। ऐसे में पंडित ब्यास चन्द्र पांडेय के अनुसार रात्रि 8 बजकर 12 मिनट पर भद्रा समाप्त हो जायेगी जो होलिका दहन का शुभ मुहूर्त होगा। इसके अलावा होलिका दहन के लिए पूजा भी दोपहर बाद की जा सकती है।
कैसे करें होलिका माता की पूजा
होलिका दहन के दिन पूजा के लिए पूर्व या उत्तर दिशा की ओर मुँह कर होलिका माता की रोली, चावल, फूल, गुलाल, हल्दी से पूजा करे और कच्चे सूत को लेकर होलिका के चारों ओर 5 या सात बार परिक्रमा करते हुए होलिका को लपेटकर शुद्ध जल व अन्य सामग्री को समर्पित कर होलिका पूजन करें। इसके बाद होलिका दहन के समय गेहूं, जौ,गन्ने की बालियां को उसमे भून कर अपने सगे संबंधियों में बांटे। ऐसा करने से परिवार में खुशहाली और आर्थिक समृद्धि बनी रहती है ।