सुशांत सिंह राजपूत मामला सुर्खियों में बना हुआ है। सुप्रीम कोर्ट में बीते दिन सुनवाई हुई जिसमे सुशांत के परिवार के वकील, बिहार पुलिस की ओर से वकील, महाराष्ट्र सरकार की ओर से वकील और रिया के वकील मौजूद थे जिन्होंने अपना अपना पक्ष रखा। वहीं दलीलें सुनने के बाद सुप्रीम कोर्ट ने रिया चक्रवर्ती की याचिका पर फैसला रिजर्व कर लिया है। वहीं सुशांत के पिता ने बड़ी बात कही है। उन्होंने कहा है कि किसी ने भी सुशांत सिंह राजपूत की बॉडी को पंखे से लटकते हुए नहीं देखा था और जब उनकी बहन कमरे के अंदर घुसी, तब तक बॉडी उतारी जा चुकी थी। वहीँ रिया चक्रवर्ती के वकील ने केस को मुंबई ट्रांसफर करने की माँग की। सुशांत की गर्लफ्रेंड रिया चक्रवर्ती के वकील ने सुप्रीम कोर्ट में कहा कि दूसरे राज्य बिहार में एफआईआर करा कर सीबीआई को जाँच ट्रांसफर की गई है, इसकी अनुमति नहीं दी जानी चाहिए।
सुशांत को रिया ने परिवार से दूर किया- वकील
वहीं सुशांत सिंह राजपूत के पिता केके सिंह के वकील विकास सिंह ने कहा कि जानबूझ कर रिया द्वारा सुशांत को उनके परिवार से दूर किया जा रहा था। सुशांत के पिता ने कई बार अपने बेटे के इलाज के बारे में पूछा और आने देने को कहा, लेकिन उन्हें कोई जवाब नहीं दिया गया। सुशांत सिंह राजपूत के पिता के वकील विकास सिंह ने कहा कि सुशांत सिंह राजपूत की लाश को देख कर ये नहीं कहा जा सकता था कि उन्होंने आत्महत्या की है, बल्कि उनके गर्दन पर बेल्ट के निशान थे। उन्होंने कहा कि दूसरा पक्ष मीडिया रिपोर्ट्स पर प्रतिक्रिया दे रहा है।
महाराष्ट्र सरकार के वकील ने रखा अपना पक्ष
वहीं महाराष्ट्र सरकार के वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा कि देश मे संघीय ढाँचा है और क्या शिकायतकर्ता की सुविधा के लिए कहीं भी केस दर्ज कर लिया जाएगा? उन्होंने कहा कि इस केस में हर कोई वकील और जज बन गया है, कोई कह रहा है आत्महत्या है, कोई हत्या! लेकिन यह तय है कि मामले में आपराधिक मुकदमा प्रक्रिया की हत्या हो रही है। सिंघवी ने पूछा कि CrPC 406 के तहत चल रही इस कार्रवाई में मुकदमा एक राज्य से दूसरे राज्य में ट्रांसफर किया जा सकता है लेकिन क्या सिंगल जज खुद सीबीआई को जाँच सौंप सकते हैं? उन्होंने कहा कि मीडिया चाहे इस मामले को जितना भी सनसनीखेज बनाए, इससे कोर्ट को कोई फर्क नहीं पड़ना चाहिए। उन्होंने कहा कि देश में संघीय ढाँचा है, कहीं का केस कहीं भी दर्ज नहीं किया जा सकता।