रुड़की : खानपुर विधायक कुंवर प्रणव सिंह चैंपियन ने तहसील अधिकारियों के साथ जलभराव की समस्या का निरीक्षण किया। साथ ही अधिकारियों को निर्देश दिए कि इस समस्या का जल्द से जल्द कोई समाधान किया जाए। इसके साथ ही स्थानीय लोगों ने सरकार और प्रशासन को चेतावनी दी कि अगर उनकी समस्या का समाधान न हुआ तो वह आने वाले चुनाव का बहिष्कार करेंगे।
खानपुर विधानसभा की ढंडेरा ग्राम पंचायत के गोल भट्टा में पिछले दस सालों से जलभराव की समस्या बनी हुई है जिस कारण कई बार लोग हादसों का शिकार भी हो चुके हैं और घरों के अंदर भी पानी भरे होने के कारण बीमारियों का सामना भी लोगों को करना पड़ता है। समस्या के समाधान के लिए लोगों ने स्थानीय विधायक कुंवर प्रणव सिंह चैंपियन से गुहार लगाई। आज खानपुर विधायक कुंवर प्रणव सिंह चैंपियन, ज्वाइंट मजिस्ट्रेट रुड़की नमामि बंसल के साथ मौके पर पहुंचे।
उन्होंने क्षेत्रवासियों को बताया कि समस्या के स्थाई समाधान के लिए उन्होंने कांग्रेस सरकार में रहते हुए प्रयास तेज किए थे और करीब 135 करोड रुपए की कार्य योजना तैयार की थी। उन्होंने कहा कि तत्कालीन मुख्यमंत्री हरीश रावत द्वारा यह बजट उस समय पास नहीं किया गया। अभी वह लगातार समस्या के समाधान के लिए जुटे हुए हैं इस दौरान लोगों ने समस्या के अस्थाई समाधान के लिए उन्हें सुझाव दिए। सुझावों पर चैंपियन ने अधिकारियों के साथ चर्चा की। चैंपियन ने बताया कि एसडीएम ने समस्या के निवारण के लिए एनआईएच से वार्ता की है और जल्द ही इसका निस्तारण कर दिया जाएगा।
वहीं ज्वांइट मजिस्ट्रेट नमामि बंसल ने बताया कि ढंडेरा में पानी निकासी की समस्या ने विकराल रूल ले लिया है फिलहाल आबादी के बीच तालाब की सफाई कराई जायेगी। जिससे पानी निकासी से निजात मिल सके। जिससे स्थानीय लोगो को राहत मिलेगी उन्होंने कहा इसके बाद समस्या का स्थाई रूप से निराकरण किया जायेगा। साथ ही टेक्निकल टीम द्वारा सर्वे कराया जायेगा जिससे स्थाई हल क्या निकल सके। ढंडेरा गोल भट्टा निवासी रविन्द्र बब्बर ने बताया कि पानी की समस्या से वह पिछले दस सालों से परेशान है और शासन प्रशासन ओर सरकार को लगातार समस्या को लिखित रूप में भी अवगत कराते रहे हैं।
उन्होंने कहा डीएम हरिद्वार द्वारा ने समस्या हल भी कर दिया था और पानी की निकासी भी शुरू हो गई थी। लेकिन कुछ दिन बाद ही निकासी को रोक दिया था। जिसके बाद स्थानीय विधायक और ज्वाइंट मजिस्ट्रेट ने क्षेत्र का दौरा किया लेकिन अगर फिर भी कोई हल नहीं निकलता है तो आने चुनाव का बहिष्कार किया जाएगा। साथ ही किसी भी पार्टी के किसी नेता को वोट नही दिया जाएगा