देहरादून : एक बार फिर खबर उत्तराखंड की खबर का असर देखने को मिला. योगा दिवस के मौके पर सरकार ने गुमनाम हुई योगा की ब्रांड एम्बेसडर दिलराज प्रीत कौर का संज्ञान लिया. योग दिवस के मौके पर आज देहरादून में कार्यक्रम का आयोजन किया गया जिसमें दिलराज प्रीत कौर भी मौजूद रहीं. योग दिवस के मौके पर दिलराज प्रीत कौर ने एस प्रस्तुति दी और सबका मन मोह लिया.
हऱीश रावत की सरकार के समय बनाया गया था ब्रांड एम्बेसडर
आपको बता दें कि तत्कालीन हरीश रावत की सरकार के समय दिलराज प्रीत कौर को उत्तराखंड का योगा ब्रांड एम्बेसडर बनाया गया था लेकिन उसके बाद किसी ने उसकी सुध नहीं ली कि वो किस मुसीबत में है. 1 साल से दिलराज को सैलरी नहीं मिली जिससे उसका जीवन यापन करना मुश्किल हो गया था. इन चार साल में सरकार ने उन्हें न तो प्रदेश और न ही देश में कहीं योग को प्रोत्साहित करने का मौका दिया। भागदौड़ करने के बाद नौकरी तो मिली, लेकिन एक साल से वेतन नहीं मिल रहा है। जिसका खबर उत्तराखंड की खबर के बाद संज्ञान लिया गया और हर सम्भव मदद का अश्वासन दिया गया.
दिलराज प्रीक कौर का बयान
इस पर दिलराज का कहना था कि चार साल में एक बार भी उन्हें न तो प्रदेश के किसी भी कार्यक्रम में भेजा गया और न ही देश के दूसरे राज्यों में भेजा गया। हालांकि, भागदौड़ करने के बाद उन्हें आयुर्वेद विवि में बतौर योग शिक्षिका एवं थेरेपिस्ट की नौकरी मिल गई। 40 हजार रुपये वेतन एक साल तक मिला। अब जून 2018 से उन्हें वेतन ही नहीं दिया गया।
आयुष मंत्री हरक सिंह रावत का बयान
उत्तराखंड योगा की ब्रांड एम्बेसडर दिलराज कौर की नौकरी पर मंडरा रहे खतरे को लेकर आयुष मंत्री हरक सिंह रावत का कहना है कि उन्होंने विभागीय अधिकारियों को निर्देश दिए हैं. आयुर्वेदिक विश्वविद्यालय में योगा ट्रेनर के पद पर उनकी बहाली की जाए साथ ही पिछले 1 साल का उनका जो काम करने का वेतन रुका हुआ है उसे भी जारी किया जाए।