देहरादून : पहाड़ों से पलायन रोकने के लिए अब सरकार ने कमर कस ली। सरकार ने होमस्टे के जरिए पलायन रोकने की भी योजना बनाई है जिसके तहत लोन आसानी से मिल सकेगा। वहीं बीते दिन बुधवार को सचिवालय स्थित मीडिया सेंटर में उत्तराखण्ड पर्यटन विकास परिषद एवं मेक माई ट्रिप के बीच एमओयू साइन किया गया।
इस मौके पर सचिव पर्यटन दिलीप जावलकर ने कहा कि मेक माई ट्रिप एक प्रमुख व्यवसायिक प्लेटफार्म है जिसमे उत्तराखण्ड के अल्पज्ञात गन्तव्यों पर स्थित होम-स्टे को प्रदर्शित किये जाने से होम-स्टे व्यवसायियों को अधिक बुकिंग मिलेगी, अधिक व्यवसाय प्राप्त होगा, स्थानीय अर्थव्यवस्था मजबूती के साथ ही पलायन को रोकने में मदद मिलेगी। इस एमओयू का उद्देश्य राष्ट्रीय और अन्तर्राष्ट्रीय पर्यटकों को होम-स्टे आवासों से जोड़ते हुए उत्तराखण्ड के नैसर्गिक सौन्दर्य, समृद्ध संस्कृति एवं उत्कृष्ट आतिथ्य भाव से परिचित करवाना है।
उत्तराखण्ड के होम-स्टे को डिजीटल पटल पर नई पहचान मिलेगी-पर्यटन सचिव
उन्होंने कहा कि यह एमओयू न केवल ग्रामीण पर्यटन एवं अर्थव्यवस्था को मजबूत करेगा बल्कि इससे उत्तराखण्ड के होम-स्टे को डिजीटल पटल पर नई पहचान मिलेगी। वर्तमान में उत्तराखण्ड में लगभग 2000 होम स्टे स्थापित किये जा चुके हैं। एमओयू पर उत्तराखण्ड पर्यटन विकास परिषद की ओर से संयुक्त निदेशक विवेक सिंह चौहान एवं मेक माई ट्रिप की तरफ से उपाध्यक्ष रवि प्रकाश द्वारा हस्ताक्षर किये गये।
उत्तराखण्ड पर्यटन विकास परिषद एवं मेक माई ट्रिप के बीच एमओयू के मुख्य बिन्दु-
- प्रचार-प्रसारः मेक माई ट्रिप की वेबसाइट पर लगभग 12 लाख पर्यटक तक उत्तराखण्ड के होम-स्टे की पहुंच हो सकेगी।
1) मेक माई ट्रिप की वेबसाइट पर रजिस्टर्ड होम-स्टे प्रदर्षित किये जायेंगे और होम-स्टे में उपलब्ध सुविधाओं को भी प्रदर्षित किया जायेगा।
2) मेक माई ट्रिप के इंस्टाग्राम, ट्विटर आदि के माध्यम से होम-स्टे का प्रचार प्रसार किया जायेगा।
3) डिजीटल मार्केटिंग के माध्यम से होम-स्टे स्वामियों को घर बैठे बुकिंग मिल सकेगी और इस पर प्रथम तीन वर्षों के लिए कमीशन न्यूनतम रखा जायेगा।
- क्षमता विकास
मेक माई ट्रिप द्वारा होम स्टे स्वामियों को हॉस्पिटेलिटी प्रशिक्षण, व्यवसायिक प्रशिक्षण, रजिस्ट्रेशन कैसे करें का प्रशिक्षण दिया जायेगा। इसके साथ मेक माई ट्रिप द्वारा होम स्टे स्वामियों को इन्वेन्टरी एवं रेट का निर्धारण, ऑनलाइन रिव्यू एवं रेटिंग के प्रबन्धन तथा पर्यावरण संरक्षण का प्रशिक्षण भी दिया जायेगा।
सचिव पर्यटन दिलीप जावलकर ने बताया कि इसके अतिरिक्त किसी अन्य प्रतिष्ठत वेब प्लेटफार्मों से भी भविष्य में इस प्रकार का एमओयू हस्ताक्षर किया जा सकता है और साथ ही उन्होंने कहा कि होम स्टे स्वामी इन पोर्टलस् पर रजिस्ट्रर करने के लिए पूर्णत स्वतंत्र रहेंगे और वह जब चाहें तब इनसे अपनी इनवेंट्री को वेबसाईट से हटा सकेंगे।