पिथौरागढ़: कोरोना संकट ने कई दिन दिखा दिए। कई लोग बपनो से दूर हो गए। कोई पिता बेटी की शादी में शामिल नहीं हो पाया, तो कोई अपनी शादी नहीं कर पाया। और तो और लोग अपनों को अंतिम संस्कार तक नहीं कर पाए। लोग अपने परिजनों के अंतिम दर्शन और अंतिम संस्कार तक नहीं कर पा रहे हैं। ऐसा ही भावुक करने वाला मामला पिथौरागढ़ के डीडीहाट में सामने आया है। नेपाल निवासी डंबर सिंह भारत में बैठकर अपने पिता का क्रियाकर्म कर रहे हैं। कारण केवल इतना है कि वो लाॅकडाउन के कारण अपने पिता का अंतिम संस्कार करने नेपाल नहीं जा सके।
नेपाल के बैतड़ी जिले के बास गांव का रहने वाला डम्बर सिंह धामी तीन माह पहले डीडीहाट में मजदूरी करने आया था। लॉकडाउन के चलते भारत में फंसे डम्बर को 13 अप्रैल की सुबह फोन पर उसके पिता जनक धामी की मृत्यु का समाचार मिला। डम्बर अपने तीन साथियों के साथ पैदल ही नेपाल जाने को निकल पड़ा। लेकिन, लॉकडाउन के चलते डम्बर व उनके साथियों को जौलजीबी से आगे नहीं जाने दिया। नेपाल जाने के लिए डम्बर ने दो दिन काली नदी के किनारे ही गुजार दिए। नेपाल जाने की कोई संभावना नजर नहीं आई तो, वो और उसका साथी वापस भागीचौरा के जंगल में दो दिन रहे। इस बीच डम्बर ने जंगल में ही क्रियाकर्म की रस्म अदायगी की।