कोरोना महामारी के संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए एक और जहां केंद्र और प्रदेश की सरकारें लॉकडाउन लगाकर लोगों को सोशल डिस्टेंसिंग एवं दो गज दूरी का पालन कराने के लिए दिन रात लगी हुई हैं। वहीं जिम्मेदार अधिकारी हैं कि इस और आंखें मूदं कर सोए हुए हैं। वहीं जिम्मेदार अधिकारियों की लापरवाही के चलते सोशल डिस्टेंसिंग की खुलेआम धज्जियां उड़ाई जा रही हैं। इसका जीता जागता उदाहरण आज हल्दूचौड़ स्थित सोयाबीन फैक्ट्री के परिसर में श्रम विभाग द्वारा आयोजित राशन वितरण कार्यक्रम में देखा गया। यहां हल्दूचौड़ स्थित सोयाबीन फैक्ट्री के परिसर में स्थानीय जनप्रतिनिधियों एवं श्रम विभाग की मौजूदगी में आयोजित शिविर में सोशल डिस्टेंसिंग का जरा सा भी ध्यान नहीं रखा गया।
बताते चलें कि कोविड-19 के बीच श्रम विभाग द्वारा पंजीकृत श्रमिकों को राशन वितरण किये जाने का एक शिविर सोयाबीन फैक्ट्री परिसर में लगाया गया। शिविर में श्रम विभाग के अधिकारियों के साथ-साथ क्षेत्र के कई जनप्रतिनिधि मौजूद हैं, जिनकी मौजूदगी में इस कदर भीड़ जमा हुई जिससे सोशल डिस्टेंसिंग के लागू आदेश हवा हवाई होते नजर आए। क्योंकि मामला राशन वितरण का था इसलिए भीड़ होना लाजमी है लेकिन जिस तरह से अधिकारियों ने सरकार के आदेशों का उल्लंघन उड़ाया है उसे देखकर लगता है कि अधिकारी भी सरकार के आदेशों को नहीं मानते है। करीब 3 घंटे तक चले उक्त शिविर में अधिकारियों ने मौजूद लोगों को कोविड-19 के पालन करने के निर्देश तो दिए लेकिन उन्ही की सरकार के सोशल डिफेंस के निर्देशों की खुली धज्जियां उड़ती दिखाई दी।
वहीं इस मामले में जब उप जिलाअधिकारी विवेक राय से बात की गई तो उन्होंने तुरंत ही श्रम विभाग के संबंधित अधिकारियों से दूरभाष पर बात की तथा इस तरह के शिविर ना लगाने के निर्देश दिये। वहीं उन्होंने कहा कि मामला उनके संज्ञान में आया है तथा जो भी लॉकडाउन के नियमों की अनदेखी करेगा उसके खिलाफ लॉक डाउन का उल्लंघन करने का मुकदमा पंजीकृत कर कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने कहा कि फिलहाल उक्त शिविर स्थगित कर दिया है तथा अधिकारियों को भी सख्त हिदायत दे दी गई है कि भविष्य में इस तरह की गलती ना हो।