देहरादून- मोदी लहर के बावजूद रानीखेत में कांग्रेस उम्मीदवार करण माहरा ने जीत हासिल की है। करन ने भाजपा के दिग्गज, पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष और नेता प्रतिपक्ष अजय भट्ट को 4981 वोट से हराया। हरीश रावत के बेहद करीबी माने जाने वाले करण माहरा ने कांग्रेस संगठन पर गंभीर आरोप लगाए हैं।
करण का आरोप है कि सूबे में किसी भी सीट पर संगठन ने चुनाव नहीं लड़ा। कांग्रेस को जो भी उम्मीदवार चुनावी जंग जीत कर सदन में पहुंचे हैं वो उम्मीदवार की अपनी जीत है, कांग्रेस के संगठन की जीत नहीं।
करण ने कांग्रेस संगठन पर आरोप लगाते हुए कहा कि ये पहला चुनाव है जिसमें संगठन की ओर से कोई प्रबन्धन नहीं दिखाई दिया। पूरा चुनाव मुख्यमंत्री हरीश रावत अपने कांधे पर उठाए रहे। संगठन ने हरीश रावत की कहीं कोई मदद नहीं की। संगठन सूबे में समय पर स्टार प्रचारकों को नहीं जुटा पाया। यहां तक की उम्मीदवारों को प्रचार सामग्री मिली या नहीं इसकी भी संगठन के कर्ता-धर्ताओं को पता नहीं चल पाया।
करण माहरा ने आरोप लगाते हुए कहा कि संगठन केद्र से आए स्टार प्रचारकों को विधानसभा क्षेत्रों में नहीं पहुंचा पाया। जो भी दिग्गज नेता आए देहरादून में पीसी करके निकल गए। संगठन स्टार प्रचारकों का सही इस्तमाल नहीं कर पाया।
गौरतलब है कि अब तक कांग्रेस संगठन ने चुनावी हार की न तो समीक्षा की है और न ही किसी तरह कोई जिम्मेदारी ली है।जाहिर सी बात है करण माहरा के आरोपों पर गौर किया जाए तो उन्होंने पार्टी की हार का ठीकरा कांग्रेस संगठन और उसके मुखिया किशोर उपाध्याय के सिर पर फोड़ा है।
ऐसे में माना जा रहा है कि करण ने किशोर के पर कतरने की बड़ी कोशिश की है। हालांकि होगा क्या ये तो वक्त बताएगा लेकिन इतना तय है कि सूबे में कांग्रेस की बड़ी हार के चलते किशोर भी सेफ जोन में नहीं हैं।