भागदौड़ भरी जिंदगी में आजकल कोई भी कभी भी डिप्रेशन का शिकार हो रहे हैं। कई लोग तो तनाव के कारण आत्महत्या जैसा कदम उठा रहे हैं। वहीं कई लोग इसका इलाज करवा रहे हैं। कोई योगा का सहारा ले रहा है तो कई एक्सरसाइज कर रहा है। किसी के पास परिवार के लिए समय नहीं है तो किसी के पास खुद के लिए। तनाव वो बिमारी है जो इंसान के अंदर से धीरे धीरे खोखला करती है और जब सहने का शक्ति खत्म हो जाती है तो इंसान घातक कदम उठा बैठता है। अपने घर वालों से तनाव परेशानी को शेयर न कर खुद की जिंदगी दांव पर लगाते हैं और अपनी जिंदगी अपने ही हाथों खत्म कर लेते हैं जो की अपराध है। अगर आपको डिप्रेशन है तो आप अपने खान पान में ऐसी चीजें शामिल करें जो तनाव को कम करने में मदद करेगा।यदि आप डिप्रेशन में हैं तो जंक फूड बिल्कुल ही छोड़ देना चाहिए क्योंकि ये डिप्रेशन को और बढ़ाने का काम करते हैं। क्योंकि इन पदार्थों में बड़ी मात्रा में सैचुरेटेड फैट, रिफाइंड शूगर और कैफीन आदि होते हैं। यहां कुछ फूड्स हैं जो आपकी सेहत को बेहतर बनाने में मददगार साबित हो सकते हैं।
काजू : काजू का सेवन घबराहट और तनाव कम करने में मदद करता है। अवसाद से छुटकारा दिलाने में यह दवा के बराबर काम करता है। काजू पोषक तत्वों और विटामिन सी से भरपूर है जो तंत्रिकाओं को आराम देता है और मूड अच्छा करता है।
बादाम : इसमें प्रोटीन, विटामिन ई, मैग्नीशियम, फाइबर और कई जरूरी एमीनो एसिड पाए जाते हैं। एक चम्मच बादाम का पेस्ट अगर गर्म दूध के साथ लेंगे तो जल्दी डिप्रेशन से निकलने में मदद मिलेगी।
ग्रीन टी : ग्रीन टी भी डिप्रेशन कम करने में मदद कर सकती है। इसमें एंटीऑक्सीडेंट और एमिनो एसिड पाया जाता है जो कि डिप्रेशन से बाहर आने में मदद करती है।
अंडा : अंडे में विटामिन बी-12 भरपूर होता है जो कि तनाव को दूर रखने में मदद करता है। अंडे का सेवन करने से मूड सही होता है और डिप्रेशन भी नहीं होता है।
अखरोट : ओमेगा 3 मस्तिष्क के न्यूरॉन सेल के लिए बहुत जरूरी है। इसका सबसे अच्छा स्रोत मछली है। शाकाहारी लोगों को ड्राई फ्रूट, सरसों के बीज, सोयाबीन, फल और हरी सब्जियों को आहार में शामिल करना चाहिए। अखरोट में ओमेगा-3 फैटी एसिड सबसे अधिक मात्रा में पाया जाता है।
पालक : अच्छा महसूस न करने पर अपने आहार में पालक शामिल करें, क्योंकि विटामीन-बी के साथ आयरन की प्रचूर मात्रा पाई जाती है जो इस मूड से उबारने में मदद करेगी।
साबुत अनाज : साबुत अनाज में कार्बोहाइड्रेट होता है जो मूड स्विंग्स की परेशानी को रोकता है और अवसाद में बहुत लाभदायक साबित होता है।
टमाटर : कई शोधों में अवसाद से ग्रस्त रोगियों में फोलेट की कमी देखी गई है। इसमें मौजूद फोलिक एसिड और अल्फा-लिपोइक एसिड डिप्रेशन से लड़ने के लिए अच्छा है।
केला : मूड को अच्छा करने और आत्मविश्वास को बढ़ाने में केले में मौजूद ट्रिपटोफान मददगार साबित हो सकते हैं। केलों में मैग्नीशियम भी काफी मात्रा में होता है। यह रिलेक्स करने में मदद कर सकते हैं। विटामिन बी 6 भी अवसाद से राहत देने में मदद करते हैं।
अंगूर : अंगूर डाइट में शामिल करने से मानसिक स्वास्थ्य पर सकारात्मक प्रभाव पड़ता है। अंगूर से तैयार बायोएक्टिव डायटरी पोलीफिनॉल तनाव से हुई निराशा की स्थिति से बाहर निकलने में मददगार है और इस बीमारी के इलाज में प्रभावी हो सकता है।
कैफीन को पूरी तरह से अपने आहार से निकाल देना कई लोगों के लिए मुश्किल हो सकता है। इससे नींद की समस्या, मूड, चिड़चिड़ापन, उत्तेजना और एंग्जायटी जैसी समस्याएं होने की संभावनाएं रहती है। साथ ही यह हमारी मनोदशा को भी प्रभावित करती है जिससे अवसाद के लक्षण बिगड़ सकते हैं। डिप्रेशन में खानपान के दौरान कैफीन का सेवन न के बराबर करें ताकि उपचार में जल्दी लाभ दिख सकें। कैफीन को देर रात लेने से आपका स्लीपिंग रूटिन बदल सकता है जिससे आपको परेशानी हो सकती है। जिन लोगों को अवाद है उन्हें डिप्रेशन में खानपान का पूरा ध्यान चाहिए।