हरिद्वार- उत्तराखंड में चारधाम यात्रा चरम पर है। 2013 की आपदा के बाद से यात्रा से जुड़े व्यापार पर सबसे ज्यादा बुरा असर पड़ा था। मगर धीरे-धीरे स्थिति में सुधार हुआ, इस बार यात्रा के आगाज से जहाँ एक ओर ट्रेवल व्यवसायियों के चेहरे खिल उठे हैं वहीँ दूसरी ओर अनाधिकृत और फ़र्जी तौर पर गाड़ियों का संचालन कर यात्रियों को लूटने वाले व्यवसाइयों को लेकर ट्रेवल व्यवसायियों में भारी रोष है।
ग़ौरतलब है कि पिछले दिनों हरिद्वार और उत्तराखण्ड की छवि को उस वक्त तगड़ा आघात लगा जब एक फर्जी एजेंसी ने यात्रियों से 50000 रूपए की रकम लेकर फर्जीवाड़ा किया और जिसे लेकर यात्रियों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा. लेकिन मामला संज्ञान में आने पर हरिद्वार ट्रेवल्स एसोसिएशन ने अपने प्रयासों से यात्रियों की रकम उन्हें वापस दिलाई। अन्य किसी भी यात्री के साथ कोई दुर्व्यवहार ना हो इसी को लेकर हरिद्वार टूर एन्ड ट्रेवल्स एसोसिएशन ने बैठक की।
बैठक के दौरान बिना पंजीकरण के और फर्जी तौर पर संचालित की जा रही एजेंसियों को चिन्हित कर उनके ख़िलाफ़ कार्रवाही किये जाने का निर्णय लिया गया. साथ ही एसोसिएशन की ओर से व्यवसाइयों को पंजीकरण कराने के लिए कैम्प लगाने की बात भी कही।