नैनीताल: हाई कोर्ट ने देहरादून की डोईवाला विधान सभा क्षेत्र से विधायक और मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत के निर्वाचन को चुनौती देती याचिका पर सुनवाई करते हुए याचिकाकर्ता हेमा पुरोहित की याचिका को खारिज कर दिया. औऱ साथ ही दो लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया.
हेमा पुरोहित पर दो लाख का जुर्माना लगा
आपको बता दें न्यायाधीश न्यायमूर्ति लोकपाल सिंह की एकलपीठ में डोईवाला विधानसभा क्षेत्र की निर्दलीय प्रत्याशी हेमा पुरोहित की चुनाव याचिका पर सुनवाई की जो की सुरक्षित रखी गयी थी जिस पर आज फैसला सुनाया गया औऱ हेमा पुरोहित पर दो लाख का जुर्माना लगाया..
ये बताया था कारण
जिसमे कहा गया था कि चुनाव आयोग ने उनका नामांकन इसलिए निरस्त कर दिया कि नामांकन पत्र में उनके हस्ताक्षर छूट गए हैं, जबकि याची द्वारा नामांकन पक्ष हस्ताक्षर के लिए उपलब्ध कराने को कहा तो निर्वाचन अधिकारी द्वारा नामांकन पत्र की जांच का समय पूरा होने का हवाला देते हुए हस्ताक्षर नहीं करने दिए।
फिर से चुनाव करने की की थी अपील
याचिकाकर्ता का आरोप था कि चुनाव आयोग द्वारा जानबूझकर उन्हें चुनाव लड़ने से रोका गया, लिहाजा डोईवाला विस क्षेत्र का फिर से चुनाव कराया जाए। याचिका में डोईवाला विधानसभा सीट से विजयी प्रत्याशी व मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत को भी पक्षकार बनाया गया है।
मुख्यमंत्री की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता सत्यपाल जैन व असिस्टेंट सॉलिसीटर जनरल राकेश थपलियान ने कहा कि याचिका पोषणीय नहीं है। याचिकाकर्ता द्वारा जानबूझकर नामांकन पत्र गलत भरा गया और उसमें दस्तखत नहीं किए, ताकि वह चुनाव याचिका दायर कर सके। याचिकाकर्ता द्वारा मुख्यमंत्री पर मतदाताओं को प्रभावित करने के लगाए गए आरोप के पक्ष में कोई साक्ष्य नहीं दिया गया, लिहाजा इसे खारिज किया जाए। एकलपीठ ने मामले में सुनवाई पूरी करते हुए फैसला सुरक्षित रख लिया था।