संवाददाता- भारत में मौसम का मिजाज़ बदल रहा है। गर्मियों में चौकाने वाली गरमियां पड़ती हैं तो सर्दियों में हाड़ कंपाने वाली ठंड। मई-जून में ग्लेशियरों के कई मीटर पीछे खिसक जाने की खबरें सुर्खियां बन रहीं हैं तो सर्दियों मे ठंड यूरोप को हरा देती है। बीते गुरूवार को उत्तर भारत के कई जगहों के तापमान यूरोप के सर्द शहरों से भी कम रहे। जानकारों की माने तो भारत की ये ठंड सेहत के लिए यूरोप के मुकाबले ज्यादा खतरनाक है। यूरोप में अधिकतम और न्यूनतम तापमान में अधिक अंतर नहीं होता। जबकि भारत में न्यूनतम और अधिकतम तापमान में 25 डिग्री तक का अंतर होता है।
उत्तराखंड के कई इलाके गुरूवार को लंदन और बर्लिन जैसे ठंडे शहरों से भी ज्यादा ठंडे रहे इनमे नई टिहरी, मुक्तेश्वर, चकराता और नैनीताल जैसे कई इलाके शामिल हैं।
भारत न्यूनतम तापमान | विदेश न्यूनतम तापमान |
दिल्ली- 02 डिग्री, चुरू (राजस्थान) – माइनस 1.9 | मैंड्रिड – 3.4 डिग्री |
शिमला- माइनस 0.6, कुफरी- माइनस 0.6 | जिनेवा और पेरिस- शून्य डिग्री |
श्रीनगर – माइनस 5 डिग्री | ज्यूरिख- माइनस 1 डिग्री |
नई टिहरी – माइनस 2.2 | मास्को- माइनस 9 डिग्री |
चकराता- माइनस 07 | बर्लिन – एक डिग्री |
नैनीताल – माइनस 2.5 मुक्तेश्वर- माइनस 3.2 | लंदन- माइनस 1 , स्कॉटलैंड- शून्य डिग्री |
उत्तराखंड में छह दिन और बढ़ेगी सर्दी
राज्य में आने वाले छह दिनों में ठंड और विकराल होने का अनुमान लगाया जा रहा है। मौसम विज्ञान केंद्र, देहरादून के निदेशक विक्रम सिंह के अनुसार मध्यम स्थिति के एक पश्चिमी विक्षोभ के सक्रिय होने से 15 जनवरी से सूबे में बारिश और बर्फबारी का सिलसिला शुरू हो जाएगा, इस स्थिति के 21 जनवरी तक रहने का अनुमान है। इस समयावधि में हल्की से मध्यम बारिश और चोटियों पर जोरदार हिमपात की संभावना है।