देहरादून : अछि बारिश होने से इस बार गेहूं की फसल बहुत अच्छी हुई थी, जिसके चलते किसान बड़े खुश नजर आ रहे थे. लेकिन, कटाई से पहले हुई ओलावृष्टि के कारण जिन किसानों की फसल खेत में पकी खड़ी थी, वो पूरी तरह से बर्बाद हो गई. व्यास नहरी हरिपुर कालसी में किसान शांति सिंह चौहान ने ओलावृष्टि के कारण खराब हो चुकी अपनी 5 बीघा जमीन पर खड़ी फसल को खुद ही आग लगा दी.
5 बीघा फसल जलाते समय किसान की आंखों के आंसू रुक नहीं रहे थे. जिस फसल को दिन-रात मेहनत कर काटने लायक बनाया था. इस बार उम्मीदें भी ज्यादा थी, लेकिन बारिश और ओलवृष्टि साड़ी मेहनत बर्बाद होआ गयी. किसान शांति चौहान का कहना है कि प्रशासन की तरफ से कोई मदद नहीं की गई. और तो और कोई सर्वे करने तालक नहीं आया.
नई फसल की तैयारी करनी है. उधार बीज लाकर अब नई फसल बोने की तैयारी है. लॉकडाउन के चलते हम पहले ही आर्थिक तंगी से गुजर रहे हैं. प्रकृति की मार ने हमारी परेशानियों को और बढ़ा दिया है, जिसके लिए हमें अपनी फसल जलानी पड़ी। खाने का संकट तो है ही साथ ही इस बात की भी चिंता है कि जिनलोगों से कर्ज लिया है, उसे कैसे चुकाया जाए.