भाजपा के कार्यकारी राष्ट्रीय अध्यक्ष रहे जगत प्रकाश नड्डा को आज भाजपा की कमान सौंप दी गई है। जी हां जेपी नड्डा ने अमित शाह की जगह ली है और आज से वो भाजपा राष्ट्रीय अध्यक्ष की कुर्सी संभालेंगे। बता दें कि जेपी नड्डा खाटी बिहारी हैं और उनका जन्म पटना के भिखना पहाड़ी इलाके में हुआ और सेंट जेवियर स्कूल और कुछ दिनों के लिए राममोहन राय सेमिनरी में इन्होंने स्कूली शिक्षा ली है।
नड्डा के हाथ में बीजेपी की कमान
आपको बता दें कि जेपी नड्डा बीजेपी की कमान संभालने वाले 11वें अध्यक्ष हैं. केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह का कार्यकाल पिछले साल खत्म हो गया था, लेकिन लोकसभा चुनाव को देखते हुए उनके कार्यकाल को बढ़ाया गया था. अब जेपी नड्डा अगले तीन साल तक ये कमान संभालेंगे.
जेपी नड्डा की जीवनी
आरएसएस के छात्र संगठन एबीवीपी से जुड़े
बता दें कि मूल रूप से हिमाचली और बिहार में जन्मे जेपी नड्डा लंबे समय से बीजेपी की राष्ट्रीय राजनीति का हिस्सा हैं। पहली बार 1993 में हिमाचल प्रदेश विधानसभा में पहुंचने वाले जेपी नड्डा का जन्म 2 दिसंबर, 1960 को पटना में हुआ था। पटना में ही स्कूलिंग से लेकर बीए तक की पढ़ाई की। यहीं वह आरएसएस के छात्र संगठन एबीवीपी से जुड़े थे। इसके बाद वह अपने गृह राज्य हिमाचल प्रदेश लौटे और एलएलबी किया।
पटना से शिमला तक छात्र राजनीति का अनुभव
हिमाचल यूनिवर्सिटी में पढ़ाई के दौरान वह छात्र राजनीति में ऐक्टिव रहे और फिर बीजेपी में एंट्री ली। वह तीन बार बीजेपी के टिकट पर हिमाचल विधानसभा पहुंचे। 1993-98, 1998 से 2003 और फिर 2007 से 2012 तक वह विधायक रहे। यही नहीं 1994 से 1998 तक वह प्रदेश की विधानसभा में बीजेपी विधायक दल के नेता भी रहे।
कभी धूमल के मंत्री थे, आज शीर्ष नेता
पहली बार अहम जिम्मेदारी उन्हें 2008 में मिली, जब प्रेम कुमार धूमल सरकार में वह स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री बने। उस वक्त वह भले ही धूमल के मंत्री थे, लेकिन अगले कुछ सालों में उनका कद ऐसा बढ़ा कि आज वह बीजेपी के अध्यक्ष हैं और पार्टी के सीनियर नेताओं में से एक हैं।
पहली बार 2010 में राष्ट्रीय राजनीति में एंट्री
हिमाचल में विधायक और मंत्री तक की जिम्मेदारी संभाल चुके जेपी नड्डा पहली बार 2010 में दिल्ली की राजनीति में आए, जब नितिन गडकरी ने उन्हें महासचिव की जिम्मेदारी दी थी। इसके बाद से उन्होंने पीछे मुड़कर नहीं देखा। संगठन के आदमी के तौर पर चर्चित नड्डा को पीएम नरेंद्र मोदी ने 2014 में सत्ता में आने के बाद कैबिनेट में शामिल किया। अमित शाह को गुजरात से लाकर अध्यक्ष बनाया गया।
1991 से ही हैं पीएम मोदी के करीबी
जेपी नड्डा को पीएम नरेंद्र मोदी के करीबी लोगों में से एक माना जाता है। इसकी वजह शायद यह भी है कि 1991 में जिस दौर में जेपी नड्डा युवा मोर्चा की कमान संभाल रहे थे, तब पीएम मोदी पार्टी के महासचिव थे। माना जाता है कि दोनों नेताओं के बीच तभी से करीबी है। फिर जब पीएम नरेंद्र मोदी का कद राष्ट्रीय राजनीति में बढ़ा तो जेपी नड्डा ने भी उनके साथ लगातार ऊंचाई हासिल की।
SP-बीएसपी गठबंधन के बाद भी दिलाई बड़ी जीत
एसपी और बीएसपी में गठबंधन के चलते पिछले प्रदर्शन को दोहराना चुनौती था, लेकिन पार्टी को 62 सीटें मिलीं। यह प्रदर्शन जेपी नड्डा के कद को राष्ट्रीय राजनीति में बढ़ाने वाला साबित हुआ। यही वजह थी कि जब शाह को गृह मंत्रालय मिला तो कार्यकारी अध्यक्ष के नाते उन्हें लाया गया।