हरिद्वार: चंद्रयान-2 का प्रक्षेपण साड़ी तैयारियों के बीच कुछ ही घंटे पहले रोक दिया गया। वैज्ञानिक प्रक्षेपण रोकने के पीछे तकनीति खराबी बता रहे हैं, लेकिन ज्योतिष विज्ञान के जानकारों का मानना है कि चंद्र ग्रहण के चलते ही चंद्रयान-2 का प्रक्षेपण रोका गया है। हालांकि इस दावे को सही नहीं माना जा रहा है। वैज्ञानिकों का कहना है कि कुछ खामी अंतिम क्षणों में सामने आई, जिस कारण इसे रोक दिया गया।
आचार्य विवेकानंद शास्त्री का मानना है कि प्रक्षेपण अगर आज किया जाता तो, वह विफल होता। उन्होंने कहा कि उसका वैज्ञानिक सिद्धांत है। सिद्धांत के अनुसार अभी शनि चंद्र और केतु तीनों धनु राशि में हैं। धनु राशि में मूल नक्षत्र का स्वामी केतु है जो स्वयं चंद्र को ग्रहण से ग्रसित करता है और पृथ्वी की छाया है।
शनि और चंद्र आपस में शत्रु भाव रखते हैं। ज्योतिष में इन दोनों ग्रह की युति कष्टकारी देखी जाती है। उन्होंने दावा किया है कि यही इसी कारण से आज इसरो के वैज्ञानिकों ने इस प्रक्षेपण को कुछ दिन के लिए रोक लिया है। भविष्य में जब भी प्रक्षेपण किया जाएगा तो यह अपार सफलता प्रदान करेगा।