रूड़की- भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष अजय भट्ट ने पर्दाफाश रैली में किसका राजफाश किया ये शायद खुद उनकी समझ में भी नही आ रहा होगा। गरियाना सरकार पर था गरिया वोटर पर गए। नतीजतन उसका असर भी होने लगा है। भट्ट की मंशा चाहे जो भी रही हो लेकिन ब्राह्मण समुदाय भट्ट के बयान से बेहद नाराज हो गया है हालांकि भाजपा प्रदेश अध्यक्ष खुद भी ब्राह्मण ही हैं। बिरादरी के खिलाफ बोलने से ब्राह्मण समुदाय उन्हे बिना माफी के बख्शने के मूड़ में नही दिखाई दे रहा है। बात निकली है तो दूर तलक जाएगी के अंदाज में बात ने तूल वहां तक पकड़ लिया है जहां उनके पुतले फुके जा रहे और ब्राह्मण समाज के प्रतिनिधि सड़को पर उतर कर उनके खिलाफ धरना प्रदर्शन कर रहे है। आलम ये है कि विरोध के सुर लगातार तेज़ होते जा रहे।
गौरतलब है कि रुड़की विधान सभा क्षेत्र में पर्दाफाश रैली के दौरान कार्यकर्ताओ को सम्बोधित करते हुए भाजपा प्रदेश अध्यक्ष अजय भट्ट ने ब्राह्मण समुदाय को शराब का शौकिन बता दिया था और तंज कसते हुए कहा था कि बिना पिये प्ंडितों के मंंत्र ही नही निकलते। पहाड़ के पण्डित पीने के बाद अच्छे मंत्र बोल लेते है। अजय भट्ट के इन बोलों कर्मकांडी पंडित तबका नाराज हो गया और एक जुट होकर अजय भट्ट के खिलाफ सड़को पर उतरा हुआ है ।
रुड़की शहर में गंगनहर किनारे सत्य नारायण मन्दिर में स्थानीय ब्राह्मण समुदाय ने अजय भट्ट के कड़वे बोलों के खिलाफ निंदा बैठक की और उनके विरोध में जमकर नारेबाजी की। बैठक में भागीदारी कर पंडितो ने कहा कि राष्ट्रीय पार्टी के जिम्मेदार नेता अगर इस तरह की अनर्गलन बयानबाजी करेगे तो पार्टी को इसका खामियाज भुगतना पड़ेगा। रूड़की के ब्राह्मण समाज ने चेतावनी देते हुए ऐलान किया है कि अगर जल्द ही अजय भट्ट ने अपनी गलती की माफ़ी नही मांगी तो पूरा समाज लामबंद होकर पार्टी के खिलाफ होकर सड़को पर उतरने को मजबूर होगा। तभी कहा गया है चौबे जी गए थे छब्बै जी बनने मगर दूबे जी बनकर लौटे। खोलनी पोल पट्टी सरकार की थी खफा बिरादरी से हो बैठे।