भगवानपुर तहसील में अनुसूचित जाति के भूमिहीन किसानों ने श्रेणी 3 के खारिज किए गए पट्टों पर मालिकाना हक की मांग को लेकर जोरदार प्रदर्शन किया। धरने में बड़ी संख्या में SC समुदाय के लोग शामिल हुए। उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने भी धरनस्थल पर पहुंचकर किसानों का समर्थन किया।
श्रेणी 3 के पट्टों पर मालिकाना हक को लेकर भगवानपुर में प्रदर्शन तेज
गौरतलब है कि प्रदर्शनकारी पिछले कई दिनों से तहसील स्तर पर क्रमिक आंदोलनों के माध्यम से सरकार तक अपनी आवाज पहुंचाने की कोशिश कर रहे हैं। गुरुवार को भी अनुसूचित जाति के भूमिहीन किसानों ने श्रेणी 3 के खारिज किए गए पट्टों पर मालिकाना हक की मांग को लेकर प्रदर्शन किया। धरने में बड़ी संख्या में SC समुदाय के लोग शामिल हुए। प्रदर्शनकारियों ने मालिकाना अधिकार बहाल करने की मांग की।
कांग्रेस ने किया समर्थन
धरने का समर्थन करने के लिए पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता हरीश रावत, भगवानपुर की कांग्रेस विधायक ममता राकेश समेत कई पार्टी नेताओं ने मौके पर पहुंचकर आंदोलनकारियों का साथ दिया। हरदा ने कहा कि श्रेणी 3 के पट्टे, जिन्हें पहले शासनादेश के माध्यम से अनुमोदित किया गया था, उन्हें खारिज करना भूमिहीन किसानों के साथ अन्याय है और कांग्रेस इस अन्याय के खिलाफ संघर्ष तेज करेगी।
सीएम आवास के बाहर उपवास पर बैठने का ऐलान
हरदा ने सरकार पर हमला बोलते हुए कहा कि जय भीम का उदघोष ऊर्जा और शक्ति देने वाला है और यह संघर्ष भी जनता के हक के लिए है। उन्होंने कहा कि सरकार महंगाई, बेरोजगारी और किसानों के मुद्दों से ध्यान हटाने के लिए धर्म और जाति के नाम पर लोगों को बांटने का काम कर रही है। उन्होंने ऐलान किया कि आंदोलन को और मजबूत करने के लिए वे खुद विधायक ममता राकेश के साथ मुख्यमंत्री के आवास के बाहर 24 घंटे का उपवास करेंगे।
सड़क से लेकर सदन तक लड़ी जाएगी लड़ाई: हरदा
पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा कि जब उनकी सरकार थी, तब श्रेणी 3 के पट्टों के मालिकाना हक को लेकर शासनादेश जारी किया गया था, जिसे समाप्त नहीं होने दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि यह लड़ाई सड़क से लेकर सदन तक लड़ी जाएगी और किसानों को उनका अधिकार दिलाकर ही आंदोलन समाप्त होगा।



