सितारगंज स्थित सिडकुल में निर्माणाधीन अनुराग इंटरप्राइजेज एडवांस ट्रेनिंग सेंटर में एक श्रमिक की अचानक करंट लगने से मौत हो गई. परिजनों ने मौके पर पहुंचकर मृतक की लाश को रखकर फैक्ट्री पर हत्या का आरोप लगाया. पुलिस ने मौके पर पहुंचकर शव को अपने कब्जे में लेकर पंचनामा भर पोस्टमार्टम के लिए भेजा। मृतक के घर में टूटा दुखों का पहाड़ साथी गांव में फैला सन्नाटा.
सितारगंज सिडकुल स्थित निर्माणाधीन अनुराग इंटरप्राइजेज एडवांस ट्रेनिंग सेंटर मैं कंस्ट्रक्शन का काम चल रहा है जिसमें बहेड़ी क्षेत्र के उनई गांव के मो. इमरान उम्र 20 साल बताई जा रही है जो इस कंपनी में मजदूरी के काम करता था जिसके चलते आज सुबह लगभग 7:30 बजे अचानक करंट लगने से मौत हो गयी। परिजन को सूचना देने के बाद परिजन मौके पर पहुंचे और परिजनों ने फैक्ट्री प्रबंधक के ऊपर लापरवाही का आरोप लगाया और वहीं कहा की फैक्ट्री में कोई भी सेफ्टी नाम की चीज नहीं है अगर फैक्ट्री की ओर से कोई सेफ्टी मजदूरों को दी जाती तो आज उनका बेटा इस दुनिया से नहीं जाता, साथ ही परिजनों का आरोप है कि मृतक के बारे में हमें घुमा फिरा कर बताया गया. कभी रुद्रपुर तो कभी सितारगंज कभी हल्द्वानी बताएगा हमें ठीक तरीके से जब पता लगा कि जब हम मौके पर पहुंचे तो बॉडी को कार में रखकर इधर-उधर घुमाने का काम चल रहा था।नाही पुलिस को कोई सूचना दी गई और ना ही मृतक को करंट लगने के बाद अस्पताल ले जाया गया। सवाल यह भी बनता है की कहीं फैक्ट्री का मृतक की बॉडी को ठिकाने लगाने का कोई इरादा तो नहीं था।
मृतक के परिजनों ने बताया कि कि इमरान घर में अकेला ही कमाने वाला था इसी की कमाई से घर की रोजी रोटी चलती थी इसके मृत्यु होने जाने पर घर में बूढ़े मां बाप और छोटे भाई-बहन बचे हैं जिनमें कोई भी काम करने लायक नहीं है ऐसे में मृतक के परिवार पर दुखों का पहाड़ टूट पड़ा है
वहीं आपको बता दें कि सितारगंज सिडकुल में मजदूर की मौत का यह कोई पहला मामला नहीं है इससे पहले भी कई फैक्ट्रीयो की लापरवाही से माजदूरो की मृत्यु हो चुकी हैं लेकिन परिजनों को बहला-फुसलाकर या तो उनकी आवाज दबा दी जाती है या फिर उनको समझा कर कुछ रुपए देकर शांत कर दिया जाता है। सवाल यह उठता है कि आखिर किसी के भाई,बेटे, बाप की जान लेने का मामला थमेगा या नहीं देखने वाली बात यह होगी कि पुलिस प्रशासन की ओर से अनुराग इंटरप्राइजेज ट्रेनिंग सेंटर के ऊपर क्या कार्रवाई की जाएगी है या फिर परिजनों की आवाज को दबा दिया जाएगा।
साइट इंचार्ज राहुल कुमार से बात करना चाहिए तो साइट इंचार्ज ने कैमरे के सामने बोलने से साफ इनकार कर दिया और कहा कि मजदूर की मृत्यु के पीछे कंपनी का कोई हाथ नहीं है ना ही कोई कंपनी की गलती है लेकिन तस्वीरें देखकर इससे पता लगता है कि कंपनी साइट इंचार्ज की बात में कितनी सच्चाई है।