ब्यूरो- खटीमा मे भी पूरे राज्य के साथ आज प्रचार का शोर थम जाएगा। इसके बाद उम्मीदवार 48 घंटे अपने नेटवर्क के सहारे डोर-टू-डोर प्रचार करेंगे बिना किसी शोर शराबे के। लेकिन खटीमा की फिजा में पुष्कर धामी का जो केसरिया रंग युवाओं के सिर चढ़कर बोल रहा है उससे महसूस हो रहा है कि धामी को डोर-टू-डोर कैंपेनिंग करने का कोई जरूरत हीं नहीं पड़ेगी। पुष्कर धामी के साथ जुड़ा हुआ युवा धामी को दूसरी बार खटीमा का नेतृत्व सौंप दे तो कोई बड़ी बात नहीं। दरअसल खटीमा में जहां 18 से 40 आयु वर्ग का ज्यादातर युवा सीधे तौर से पुष्कर धामी के साथ दिख रहा है वहीं उम्रदराज लोगों मे भी समान रुप से पुष्कर को लेकर रुझान बना हुआ है। खटीमा में महिलाएं हों या पुरुष सभी व्यवहार कुशल, प्रखर वक्ता और संघर्षशील पुष्कर के साथ कंधे से कंधे मिलाकर खड़े हैं। वहीं आज की विजय संकल्प रैली में जनरल वीके सिंह की अपील ने पुष्कर की जीत के आंकड़े को और बढ़ा दिया है। लोगों की माने तो 2012 के चुनाव में कांग्रेस का विजय रथ रोकने वाले पुष्कर धामी इस बार और बढत के चुनाव जीतेंगे। होगा क्या ये वक्त बताएगा लेकिन खटीमा मे पुष्कर धामी मजबूत ही नही बल्कि सभी दावेदारों पर भारी पड़ रहे हैं इसमें कोई दो राय नहीं हैं।