लक्सर(गोविंद सिंह)- हर घर में शौचालय इसलिए जरूरी हैं ताकि लक्सर जैसी वारदातें न हों। जी हां, अगर उनके घर में भी शौचालय होता तो पति पत्नी को पुलिस की मिन्नत नही करनी पड़ती।
शौचालय था नहीं पत्नी शौच के लिए हर रोज की तरह खेत मे निकल गई। जहां उसके साथ बलात्कार की कोशिश हुई, महिला ने विरोध किया और आरोपी युवक की मंशा कामयाब नहीं हुई तो उसने पीड़िता के साथ जमकर मार पीट करते हुए उसे जख्मी कर दिया।
दाबकी कला में रहने वाली पीड़ित महिला किसी तरह घर पहुंची जहां बदहवाश हालत और खून सनी हालत देखकर पति के पैरों तले जमीन खिसक गई। पीड़ित महिला ने किसी तरह अपने साथ हुई आपबीती सुनाई। जिस पर पति ने लक्सर कोतवाली की शरण ली और पत्नी के साथ हुए गुनाह के आरोपी का नाम पुलिस को बताया।
पति ने वकील नाम के युवक पर अपनी पत्नी की आबरू पर हाथ डालने की नाकाम कोशिश करने और मार-पीट करने का आरोप लगाया। जिस पर कोतवाल ने महिला की हालत देखते हुए उसे सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र भिजवाया जबकि आरोपी के खिलाफ एक्शन लेने की बात कही।
बहरहाल बड़ा सवाल ये है कि अगर उत्तराखंड का ग्रामीण इलाका खुले में शौच के अभिशाप से मुक्त हो गया है तो फिर दाबकी कला में इस वारदात को कैसे अंजाम दिया गया ? मतलब साफ है कि सरकार को उसके काबिल कारिंदों ने गुमराह किया है। जरूर शौचालय निर्माण में किसी न किसी स्तर पर घोटाला हुआ है। ये घटना सिर्फ क्राइम नहीं बल्कि इससे आर्थिक अपराध की ऐसी बू आ रही है जिसमें सरकारी कारिंदों के साथ -साथ जनप्रतिनिधि के हाथ भी रंगे दिखाई दे रहे हैं। हजूर मामले की जांच होनी चाहिए।