देहरादून,संवाददाता- राज्य में अपनी सेवा देने वाले सरकारी मुलाजिमों के तबादले के एक नीति होनी चाहिए ताकि कार्मिकों को यह पता रहे कि उन्हें किस इलाके में कितने साल तक सेवा करनी है। यह बात राज्य के मुख्यमंत्री हरीश रावत ने डिप्लोमा इंजीनियर्स के महाधिवेशन को संबोधित करते हुए कही है। इस मौके पर सीएम ने उन महकमों के मुलाजिमों को भी भंरोसा दिलाया है जहां वेतन विसंगति के मामले आज भी दिखाई दे रहे हैं। इसको लेकर कार्मिकों की सरकार से नाराजगी भी है। बहरहाल सीएम ने कहा कि, जिस भी महकमें मे कार्मिकों की वेतन विसंगतियां देखने को मिल रही है उन सभी प्रकरणों का निस्तारण सातवें वेतन आयोग की संस्तुति लागू होने के बाद भी किया जायेगा।