वस्तु एवं सेवा कर प्रणाली में रिटर्न फाइल करने के नियम में सरकार ने बड़ा बदलाव किया है। इससे व्यापारियों को बड़ी राहत मिल सकेगी।
रिटर्न भरने में आ रही दिक्कतों को लेकर जीएसटी काउंसिल व्यापारियों को राहत दे रहा है। समय पर जीएसटी 3बी रिटर्न फाइल न करने पर 100 रुपये लेट फीस को खत्म कर काउंसिल ने ऑफ लाइन रिटर्न भरने की सुविधा प्रदान की है। इससे छोटे व्यापारियों ने राहत की सांस ली है।
जिन व्यापारियों ने देरी से रिटर्न फाइल करने पर लेट फीस जमा कराई है, उन्हें वह राशि वापस मिलेगी। जीएसटी 3बी रिटर्न ऑनलाइन भरने के लिए व्यापारियों की टेंशन दूर हो गई है। अब व्यापारी आफ लाइन भी रिटर्न फाइल कर सकेंगे। यानि माल की खरीद, बिक्री और अनुमानित टैक्स डिटेल की अलग से फाइल बनाने के बाद जीएसटी की वेबसाइट पर अपलोड की व्यवस्था की गई।
पहले व्यापारियों को वेबसाइट पर सीधी ऑनलाइन रिटर्न फाइल करने का प्रावधान था। जिससे नेट वर्किंग व अन्य तकनीकी समस्याओं के चलते व्यापारियों को रिटर्न फाइल करने में काफी दिक्कतें आ रही थीं। जीएसटी काउंसिल ने अधिसूचना जारी कर रिटर्न फाइल में 100 रुपये लेट फीस को खत्म कर दिया है।
इससे प्रदेश के 70 प्रतिशत कारोबारियों को राहत मिली है। इसके साथ ही वैट स्टॉक के डिक्लेरेशन की अंतिम तिथि 31 अक्तूबर से बढ़ाकर 30 नवंबर किया है। जो व्यापारी अभी तक वैट स्टॉक का डिक्लेरेशन नहीं कर पाए थे, उन्हें जीएसटी काउंसिल ने मौका दिया है।
जिन क्षेत्रों में नेट वर्किंग व अन्य तकनीकी समस्या है। वहां के व्यापारी पहले रिटर्न की डिटेल बनाकर बाद में उसे जीएसटी वेबसाइट पर अपलोड कर सकते हैं। पहले सिर्फ ऑनलाइन ही रिटर्न फाइल करने की व्यवस्था थी।
-एसएस तिरुवा, उप आयुक्त, राज्य कर विभाग